भाग – 2पाँचों दोस्त बहुत अच्छे से अपनी ज़िंदगी बिता रहे थे। पढ़ाई में सब एक-दूसरे की मदद करते और पूरी मेहनत करते। इसी वजह से वो अपने टीचर्स के भी फेवरिट बन गए थे।अब उनकी 11वीं के फ़ाइनल एग्ज़ाम आ गए। शिवि, शिलु, सालू और परी का रोल नंबर एक ही क्लास में आया था। शिवि के पीछे परी बैठी थी और साथ ही 7वीं क्लास के बच्चों को भी वहाँ बैठा दिया गया था।उस दिन उनका आख़िरी पेपर था — कंप्यूटर। कंप्यूटर परी का थोड़ा कमजोर था। वो शिवि से बोली –“यार थोड़ी मदद करा दे।”जैसे ही मैडम