बड़बोलापन।

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व्यंग्य -      *  बडबोलापन * बडबोलापन !यह वस्तुत: बढ़ा-चढ़ाकर बातें करने की क्रिया है।इसे शेखी बघारना; डींग हांकना,अपने बारे में बढ़ा चढ़ा कर बोलना भी कहा जाता है। बडबोलापन यानी अपनी तारीफों के पुल बांधना तो है  ही;इसमें निहित अर्थ है अपनी झूठी  तारीफ करने की क्रिया। इसका बड़प्पन से कुछ भी लेना,देना नहीं क्योंकि इसमें बड़प्पन होता ही नहीं इसमें तो दंभ होता है,अहंकार होता है। इस व्यंग्य लेख में इन्हीं सबको विस्तार से स्पष्ट करने का प्रयास व्यंग्यात्मक लहजे में हुआ है।