छाया प्यार की - 17

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(छाया सुरक्षित घर लौट आई और परिवार ने उसकी बहादुरी और साहस की सराहना की। नित्या और छाया की बहनत्व की भावनाएँ उजागर हुईं, और केशव ने मज़ाक में माहौल हल्का किया। सबने छाया के अनुभव सुने और गर्व महसूस किया। अगले दिन काशी के आने पर छाया और नित्या बस स्टैंड के लिए निकल गईं। इसी बीच घर में सुरीली आई, जो अपने बेटे को छुड़ाने की धमकी दे रही थी। गौरी और विपिन ने उसे बाहर किया, और जतिन ने दरवाजा बंद किया। परिवार ने राहत की सांस ली, हँसी-मज़ाक में तनाव दूर हुआ, और सुरीली असहज होकर