(छाया ने नित्या और काशी की सुरक्षा के लिए खुद को नित्या बताकर अगवा होने से बचाया, पर खुद अगवा हो गयी। पुलिस ने डैनी की साजिश का पर्दाफाश किया। विशाल, परिवार और पुलिस छाया की तलाश में लगे रहे। छाया एक अंधेरे कमरे में बंधी मिली, जहाँ शादी का मंडप सज रहा था। उसने खतरनाक औरत को बेहोश कर कुर्सी से बांध दिया और मंडप की ओर दौड़ी। दूल्हे को देखकर उसका सामना प्रमोद से हुआ जो नित्या से शादी करना चाहता था। साहस और धैर्य दिखाते हुए छाया ने प्रमोद के साथियों को रोक दिया और अंततः खुद