राजस्थान की तपती रेत में बसे बीकानेर जिले के राजेड़ू गाँव की यह कथा, केवल एक महिला के त्याग और आत्मसम्मान की नहीं, बल्कि एक माँ के अपार प्रेम और बलिदान की अमर गाथा है। यह कहानी है – माँ चेना देवी की कई वर्ष पूर्व, राजेड़ू गाँव के प्रतिष्ठित भैराराम जी गरुवा का विवाह पास के ही रेड़ा गाँव की गुणवान, स्वाभिमानी और कर्मठ कन्या चेना देवी से हुआ। विवाह के पश्चात चेना देवी अपने ससुराल आ गईं, पर राजेड़ू गाँव की सबसे बड़ी समस्या थी – पानी की भारी कमी।गाँव में न तो कुआँ था, न कोई बावड़ी। ऐसे