50 रिस्क अब मंत्री जी बोलते-बोलते रुक गए और फिर उन्होंने दोबारा उन दोनों पर एक सरसरी नज़र डाली और कहा कि “अगर यह केस नहीं सोल्व हुआ तो मैं आप लोगों के साथ नरमी नहीं बरतूँगा I” मैं आप दोनों का ट्रांसफर अंडमान निकोबार में कर दूँगा, अब आप दोनों जा सकते हैं I” दोनों ने जाते समय गुप्ता को देखा तो उसकी नज़रें बता रही है कि उसे उन दोनों के साथ हमदर्दी है पर वह कर कुछ नहीं सकता I गृहमंत्री आवास से निकलते ही अनुज अश्विन की गाड़ी में बैठने लगा तो उसने पूछा,