अनदेखा जाल - भाग 1

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कॉलेज का माहौल हमेशा से ही चहल-पहल भरा रहता है। क्लासेस, ग्रुप डिस्कशन्स, कैन्टीन की मस्ती—हर दिन बस यूं ही कट जाता। वरुण के लिए भी कॉलेज एक रूटीन की तरह था। क्लास अटेंड करना, दोस्तों के साथ टाइम बिताना और लाइब्रेरी में कुछ समय निकालना—बस यही उसकी दिनचर्या थी। लेकिन उसे क्या पता था कि एक मामूली सा दिन उसकी पूरी जिंदगी बदलने वाला है।"भाई, नोट्स दे न, अगले हफ्ते इंटरनल्स हैं!"वरुण ने मुड़कर देखा—रोहित था, उसका सबसे करीबी दोस्त, जो हमेशा उसकी कॉपी मांगने के बहाने ढूंढता था।"ले ले यार, वैसे भी तेरी लिपि देखकर टीचर को शक