स्वयंवधू - 37

अत्याचार भाग 2एक, दो महीने से अधिक समय बीत गये थे।उसे उसके पिछले अपहरणकर्ता, उसकी नियति से अगवा करने के बाद उन्होंने बिना किसी दया के बार-बार क्रूरता से उसे प्रताड़ित करते गए। पिछले सनकी डॉक्टरों ने उसे कोमा में जाने के लिए पता नहीं कौन सी क्या दवाइयाँ दीं थी?!वह एक जीवित लाश बन गयी थी जो दफनाए जाने का इंतजार कर रही थी। मैंने कवच को ढूँढने कि कोशिश की लेकिन मैं उस तक नहीं पहुँच सकी। मुझे उसे उसके पैंरो पर खड़ा करना होगा।पर एक पेशानी है- वह कमज़ोर है इसलिए मैं भी कमज़ोर हूँ, उसे वापस