किशन बेहद गरीब युवक था । धन संपत्ति के नाम पर उसके पास थोड़ी सी उपजाऊ जमीन और एक गाय थी । खेती किसानी में मन नहीं लगता था । अपनी ही परती पड़ी जमीन में गाय को चरने के लिए छोड़कर वह बाँसुरी के मीठे तान भरने लगता । धीरे धीरे बाँसुरी वादन में वह इतना निष्णात हो गया कि उसकी बाँसुरी की धुन सुनते ही क्या इंसान क्या पशु सब सुध बुध खोकर उसके समीप आ जाते लेकिन उसे भी किसी का भान कहाँ रहता था ? वह तो अपने में ही मगन रहता ! धीरे धीरे उसकी ख्याति