#नेताजी__जयंती
वर्ल्ड वार का दौर था वह।
नेता जी सुभाष चन्द्र बोस, जब पहली बार 'हिटलर' से मिलने जर्मनी गये, तो उन्हें विश्रामालय में बैठाया गया। प्रतीक्षा करने के साथ वह पढ़ने में व्यस्त हो गये।
यह वह समय था जब किसी भी आने वाले से, सतर्कतावश कई जर्मन आफिसर हिटलर बनकर आने वाले से मिला करते थे। लिहाजा थोड़ी-थोड़ी देर बात, जर्मन आफिसर हिटलर बन के नेता जी से मिलने आता और नेताजी उन्हें, ... "हिटलर साहब को भेजिये।" कहकर फिर पढ़ने में व्यस्त हो जाते। अंततः एक जर्मन आफिसर आया और आकर नेताजी के कंधे पर हाथ रखकर बोला। "नेताजी!"
और नेता जी "हिटलर साहब!" बोल कर खड़े हो गए।
हिटलर आश्चर्यचकित हो गए और उन्होंने पूछा, "आप को पता कैसे चला कि मै ही हिटलर हूँ।"
नेता जी का जवाब था। "जिसके नाम से सारे अंग्रेज कांपते हो, उसके कंधे पर हाथ 'हिटलर' ही रख सकता है।
ऐसे थे नेता जी।
जय हिंद 🇮🇳
सादर नमन:
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// वीर //