On this auspicious day of Shri Krishna Janmashtami,
I would like to share the best suited quote to all of you extracted from
Sri Bhagwat Geeta and translated in English by my Mentor...
Here it is -
सर्वधर्मान्परित्यज्य मामेकं शरणं व्रज ।
अहं त्वा सर्वपापेभ्यो मोक्षयिष्यामि मा शुच :।।
अर्थात हे अर्जुन !
सब धर्मों अर्थात सब कर्तव्य मार्गों को त्याग कर तू केवल एक मुझ सर्वशक्तिमान परमेश्वर की शरण मे आजा ।
मैं तुझे सम्पूर्ण पापों मुक्त कर दूगां, तू शोक मत कर ।।
Abandon all religion and surrender unto me,
I will relieve you from all sinful act, don't worry.
हरे कृष्णा!🙏🙏🙏