हमारी आज की पीढ़ी जो कुछ भी छूटने पर टूटने लगती है, उसे *श्रीकृष्ण* को गुरु बना लेना चाहिए। जो कृष्ण को समझ लेगा वह कभी अवसाद में नहीं जाएगा। *श्रीकृष्ण* आनंद के देवता है। कुछ छूटने पर भी कैसे खुश रहा जा सकता है, यह *श्रीकृष्ण* से अच्छा कोई सिखा ही नहीं सकता।
*जय श्री कृष्ण.राधे .. राधे..??