Selected in Matrubharti letter writing competition.
मेरी माँ,
चरण स्पर्श,
तुम्हारी याद आ रही थी.बहुत-बहुत-खूब-खूब तुम याद आ रही थी.मन में तुम्हारी स्मृतियाँ स्वच्छ आकाश में चैती बादलों की तरह थी.रूई का फ़ाहा रेशे में बिखर रहा था.सार्थकता है भी नहीं भी.