वीरामणि

चैप्टर 1: मिशन मालवा 7 सितंबर 2006 अमरती, मालवा अगहन का मास का आरंभ हों चुका था, आसमान काला पड़ गया, मानो रात समय से पहले ही हो गई हो। नमी से भरे घने बादल शहर के ऊपर लटके हुए थे। मंद- मंद बहती हवा में सतह के नीचे छिपे रहस्य उभर गए। अमरती भी मालवा की उसी तरह की रहस्य से भरी जगह थी, चारों तरफ ऊंची ऊंची पहाड़ियों से घिरी और इन पहाड़ियों के बीच बसे इस गांव के आधे लोग हथियार बनाने का काम करते हैं। और बाकी ले के लोग बच्चे, बूढ़े और महिलाएं इन हथियारों को पुलिस से