क्रॉस कनेक्शन लेखक – राज फुलवरेयह वह दौर था जब फोन और खत दोनों ही लोगों की ज़िंदगी का हिस्सा हुआ करते थे।ट्रेन की खिड़की से आती ठंडी हवा, डिब्बे में बजते लोकगीत और बाहर दौड़ते खेत — इन्हीं के बीच “गोंदिया एक्सप्रेस” में तीन मुसाफिर सफर कर रहे थे — राज, अंजली वर्मा (गांव वाली) और अंजली वर्मा (शहर वाली)।राज, भोपाल से दिल्ली जा रहा था — अपनी नई नौकरी के सिलसिले में।अंजली (गांव वाली) बालाघाट की रहने वाली थी, अपने भाई के इलाज के लिए दिल्ली जा रही थी।वहीं दूसरी अंजली (शहर वाली) भोपाल की रहने वाली,