अगली सुबह होटल में हल्की रौनक थी, पर कियारा के मन में सब कुछ ठहरा हुआ लग रहा था।पिछली रात की वो बात — “मुझे अब silence में भी तुम्हारी आवाज़ सुनाई देती है” — बार-बार उसके दिल में गूंज रही थी।क्या वो एक इज़हार था? या बस एक लम्हे की सच्चाई?वो समझ नहीं पा रही थी, पर दिल में कहीं एक सुकून था — जैसे उसका इंतज़ार अब दिशा पा चुका हो।ब्रेकफ़ास्ट के बाद, अयान ने सबको कुछ मीटिंग पॉइंट्स दिए और फिर सीधे अपने केबिन में चले गए।कियारा ने फाइल्स लेकर दरवाज़े पर दस्तक दी।“May I come in,