झील का पानी फिर से शांत हो चुका था, लेकिन जेरेफ और आर्यन के दिलों में तूफान उठ रहा था. सैरिन काँपते हुए जेरेफ का हाथ थामे खडी थी. उसकी आँखें गीली थीं, लेकिन उनमें कोई अनकहा डर भी झलक रहा था.आर्यन ने भारी साँस लेते हुए कहा,ये पिंजरा सिर्फ सोने का नहीं. ये हमारे खून का है. और जब तक इसका सच सामने नहीं आएगा, हम दोनों अधूरे रहेंगे.जेरेफ ने चुपचाप उसकी तरफ देखा. उसके भीतर सवालों का सैलाब था—क्या वाकई आर्यन उसका भाई है? क्या कबीर अब भी जिंदा है? और अगर है तो उसने यह खेल क्यों