…. यशस्विनी का अनुमान एकदम सही निकला।ग्रेजुएशन पूरा होते-होते कैंपस सिलेक्शन में ही उस लड़के का चयन देश की शीर्ष अंतरिक्ष अनुसंधान एजेंसी में वैज्ञानिक के पद पर हो गया और उसने जाने के समय भी उसी गंभीरता का परिचय दिया और फोन करना तो दूर एक बार भी उससे मिलना गंवारा नहीं समझा। इस स्थिति के लिए यशस्विनी पहले ही मानसिक रूप से तैयार थी। यशस्विनी को कुछ वर्ष पूर्व मार्च 2009 में मराठा चित्र मंदिर मुंबई में इस फिल्म के 700 सप्ताह पूरे होने पर एक विशेष शो में देखी गई फिल्म दिलवाले दुल्हनिया ले जायेंगे का एक-एक