IIT Roorkee (अजब प्रेम की गज़ब कहानी) - 9

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(एक छोटा सा लकड़ी का डिब्बा.… और उसमें बंद एक पूरी दुनिया।)एक रोज़ जब मैं उसके कमरे की आखिरी बार सफ़ाई कर रहा था,मेरे हाथ एक छोटा सा लकड़ी का बॉक्स लगा --आम की लकड़ी से बना, किनारों पर थोड़ी जंग लगी हुई.…उस पर एक पुरानी पेंटिंग थी -- दो पक्षी, एक उड़ान में और दूसरा डाल पर बैठा हुआ।नीचे उसके हाथों से लिखा था ----“जो रुक जाता है, वही सहेजता है यादें।”बॉक्स खोला.…डरते-डरते खोला.…जैसे उसकी आत्मा उसमें बंद हो।भीतर रखी थीं कुछ चीज़ें -- बहुत साधारण…. पर बहुत गहरी। ऐसा लग रहा था जैसे वो चीजें मेरे लिए ही