हर्षिता की कहानी

हर्षिता की कहानी दिल्ली की भीड़भाड़ वाली गलियों में एक सीधी-सादी, मासूम सी लड़की रहती थी – हर्षिता।गहरी आँखों में सपनों का समंदर और चेहरे पर हमेशा खिली रहने वाली मुस्कान, यही उसकी पहचान थी।बचपन का सपनाहर्षिता का सपना बहुत बड़ा था – IAS अफसर बनना। गाँव के छोटे से स्कूल से पढ़ाई शुरू कर, उसने शहर के कॉलेज तक का सफर तय किया। उसके माता-पिता गरीब थे, लेकिन बेटी की लगन देखकर उन्होंने अपनी सारी उम्मीदें उसी से जोड़ दी थीं।कॉलेज का सफरकॉलेज में उसका नया जीवन शुरू हुआ।नई-नई दोस्तियाँ, नए चेहरे और नए अनुभव।वहीं उसकी मुलाकात हुई