छोटी तन्नू पहली बार अपनी नानी के घर आई थी। उसका दिल excitement से भरा था। नानी का घर गांव में था, बड़ा सा आँगन, मिट्टी की खुशबू, और बगीचे में लगा एक पुराना झूला।रात को नानी ने तन्नू को सुला दिया, लेकिन तन्नू की आँखों में नींद कहाँ थी। खिड़की से बाहर चाँदनी में बगीचा चमक रहा था, और उसी झूले पर कोई बैठा हिल रहा था।तन्नू ने आँखें मिचमिचाकर देखा।झूले पर एक सुंदर सी गुड़िया बैठी थी। लाल फ्रॉक, सुनहरे बाल, और हरे काँच जैसी चमकती आँखें। वह धीरे-धीरे झूले पर हिल रही थी।तन्नू को वो गुड़िया बहुत