नीलिमा ग्रह की राजकुमारी नयनतारा अपने पिता को ढूंढ़ने के लिये पृथ्वी पर पहुँचती है... जहाँ उसकी मुलाक़ात देव से होती है , देव पहली हीं मुलाक़ात में नयनतारा को अपना दिल दे बैठता है..भोली भाली नयनतारा प्यार की राहों से अनजान क्या समझ पायेगी देव का प्यार....?.**************************************************************************************************कहानी शुरू होती है नीलिमाग्रह से......आज नीलिमाग्रह पर हो रही हलचल को देखते हुए सभी काफ़ी परेशान थे, एक सैनिक अंदर से आ रहे दूत को रोकते हुए पूछता है... " अरे! रूको... अंदर इतने भगामभाग क्यू हो रही है....?.. " वो दूत कहता है... " राजकुमारी जी पृथ्वी पर जाने की बात