एपिसोड 7: अधूरी बातें, अनकही बातेंरात का समय था। Silent Shore अब भी वैसा ही था, बस इस बार यहाँ कोई नहीं था। सड़क के किनारे लगी स्ट्रीट लाइट्स की हल्की रोशनी समुद्र की लहरों पर पड़ रही थी, और हवा पहले से ज़्यादा ठंडी लग रही थी।मेहुल अब भी वहीं खड़ा था, जहाँ कुछ घंटे पहले वह रेनी से मिला था। लेकिन इस बार उसके दिमाग में सिर्फ़ रेनी नहीं थी—वह अनजान लड़की भी थी।अनजान लड़की: कभी-कभी हम जिस चीज़ से भाग रहे होते हैं, वही हमें बार-बार मिल जाती है...उसके कहे ये शब्द बार-बार मेहुल के कानों में