अपराध ही अपराध - भाग 16

  • 597
  • 270

 अध्याय 16   “फिर इसे?” “इसे किस मंदिर में से चोरी किया था, उस मंदिर में जाकर रखना है।” “ओह यही दूसरा असाइनमेंट है क्या?” “रख रहे हैं यह बिना मालूम हुए रखना है।” “रखना बिना मालूम हुए मतलब?” “चोरी करने जा रहे हैं ऐसे ही जाना है। परंतु चोरी करने नहीं रखने के लिए।” “समझ में आ रहा है मैडम। इसे सीधे दो तो पुलिस कैद कर लेगी। दंड मिलेगा। इसीलिए किसने चोरी की है पता नहीं चलना चाहिए। ऐसा ही है ना?” “ऐसा ही है। अप्पा दंड से नहीं डर रहे हैं। जेल में चले जाएं तो आगे