मेरे कस्बे के मुहल्ले को पार करते ही एक रेलवे लाइन बिछी है |हम लोग उस लाइन को पारकर दूसरी तरफ उतर जाते हैं।वहाँ से कस्बे का बाजार नजदीक पड़ता है,उस तरफ ही दो सरकारी अस्पताल हैं।एक मर्दाना दूसरा जनाना |अस्पताल से बहुत सारी दवाइयाँ व विटामिन्स की गोलियां मुफ्त में मिल जाती हैं ,इसलिए बचपन में बीमार होने पर हमें माँ वहीं ले जाती । उसी शार्ट-कट यानी रेलवे लाइन को पार करके |रेलवे लाइन की दोनों तरफ पगडंडियाँ थीं ,जिससे चलकर हम अपने कॉलेज जल्दी पहुँच जाते थे |पगडंडियों के दोनों तरफ ढलान थी और ढलान से थोड़ी दूर पर खेत फैले हुए थे |जिसमें अक्सर