मैं बैताल जाती का राजा हूँ...अमोघनाथ जी मुस्कुराते हुए कहते हैं....." लेकिन अब भी हमारे पास एक उपाय है....."" वो क्या है बाबा..?..."अब आगे.............अमोघनाथ उन्हें बताते हैं....." आदिराज जी ने जो खंजर अपनी और अदिति की ऊर्जा से बनाया था वहीं, क्योंकि बेताल को अदिति के अलावा कोई नहीं मार सकता , , ये बात तुम जानती हो चेताक्क्षी , वनदेवी के अलावा उसे कोई नहीं मार सकता इसलिए उस खंजर से ही अदिति उस बेताल को खत्म कर सकती हैं......"विवेक टेंशन भरी आवाज में कहता है....." लेकिन अभी तो अदिति बेहोश हो , , उसे कबतक होश आएगा ये